पीआईबी सारांश एवं विश्लेषण - 15 मई 2022

By Kriti Gupta (BYJU'S IAS)|Updated : May 15th, 2022

पत्र सूचना कार्यालय (पीआईबी) भारत सरकार से मीडिया तक समाचार प्रसारित करने वाली नोडल एजेंसी है। पीआईबी की विज्ञप्ति सिविल सेवा परीक्षा के नजरिए से महत्वपूर्ण हैं। पीआईबी सारांश और विश्लेषण उम्मीदवारों को समसामयिक मामलों के संबंध में समाचार और उसके संदर्भ में विशेष मुद्दों के महत्व को समझने में मदद करेगा।

Table of Content

1. प्रधानमंत्री की लुंबिनी, नेपाल यात्रा 

सामान्य अध्ययन: 2

अंतर्राष्ट्रीय सम्बन्ध:

विषय: भारत के हितों पर पडोसी देशों की नीतियां और राजनीति का प्रभाव।  

प्रारंभिक परीक्षा: लुम्बिनी,‘पड़ोस पहले’ नीति   

मुख्य परीक्षा: भारत-नेपाल सम्बन्ध। 

प्रसंग: 

  • प्रधानमंत्री 16 मई,बुद्ध पूर्णिमा के अवसर पर नेपाल के प्रधानमंत्री शेर बहादुर देउबा के निमंत्रण पर लुम्बिनी की आधिकारिक यात्रा करेंगे। 

उद्देश्य:

  • इस यात्रा का उद्देश्य समय के साथ मज़बूत हुए इन संबंधों का उत्सव मनाना तथा इन्हें और प्रगाढ़ करना है। 
  • प्रधानमंत्री यह यात्रा हमारी ‘पड़ोस पहले’ नीति को आगे बढ़ाते हुए भारत और नेपाल के बीच नियमित उच्चस्तरीय आदान-प्रदान की परंपरा को जारी रखेगी। 
  • यह यात्रा दोनों देशों के लोगों की साझा सभ्यता की विरासत को रेखांकित करती है। 

विवरण:  

  •  यह वर्ष 2014 से लेकर अब तक प्रधानमंत्री की पांचवीं नेपाल यात्रा होगी।
  • इस यात्रा के दौरान प्रधानमंत्री लुम्बिनी में पवित्र मायादेवी मंदिर में जाएंगे। 
  • प्रधानमंत्री नेपाल सरकार के तत्वावधान में लुम्बिनी डेवलपमेंट ट्रस्ट द्वारा आयोजित किए जाने वाले बुद्ध जयंती कार्यक्रम को भी संबोधित करेंगे।
  • इसके साथ ही लुम्बिनी मठ के भीतर एक केंद्र के निर्माण के ‘शिलान्यास’ समारोह में भाग लेंगे।
  • दोनों प्रधानमंत्रियों के बीच द्विपक्षीय बैठक भी होगी।
  • भारत सरकार के संस्कृति मंत्रालय की वित्तीय सहायता से लुंबिनी डेवलपमेंट ट्रस्ट के तत्वावधान में इंटरनेशनल बुद्धिस्ट कॉन्फ़ेडरेशन (आईबीसी) द्वारा अद्वितीय 'इंडिया इंटरनेशनल सेंटर फॉर बुद्धिस्ट कल्चर एंड हेरिटेज' का निर्माण किया जाएगा। 
  • इंटरनेशनल बुद्धिस्ट कॉन्फ़ेडरेशन, संस्कृति मंत्रालय के तहत एक अनुदान प्राप्त संस्था है। बौद्ध केंद्र नेपाल में पहला ‘नेट जीरो इमिशन’ भवन होगा।
  • इस बैठक के दौरान दोनों नेता नेपाल और भारत के बीच द्विपक्षीय सहयोग और आपसी हितों के मुद्दों पर चर्चा करेंगे। 
  • दोनों नेताओं के बीच पनबिजली, विकास और संपर्क के क्षेत्रों में आपसी सहयोग को बढ़ाने पर चर्चा होगी। 
  • इस दौरान दोनों देशों के बीच कई समझौतों पर मुहर भी लगेगी। 
  • इस यात्रा में जल-विद्युत, विकास और कनेक्टिविटी सहित कई क्षेत्रों में सहयोग के विस्तार पर चर्चा होगी।  
  • वे लुंबिनी मठ क्षेत्र में इंडिया इंटरनेशनल सेंटर फॉर बौद्ध कल्चर एंड हेरिटेज के 'शिलान्यास' और नेपाल सरकार द्वारा बुद्ध जयंती के अवसर पर आयोजित समारोहों में भी भाग लेंगे। 
  • नेपाल के साथ भारत के संबंध अद्वितीय हैं। भारत और नेपाल के बीच सभ्यतागत और लोगों के आपसी संपर्क घनिष्ठ संबंधों को स्थायित्व प्रदान करते हैं।  

पृष्ठ्भूमि: 

  • पवित्र वैशाख बुद्ध पूर्णिमा दिवस पर लुंबिनी बौद्ध केंद्र का शिलान्यास के अवसर पर प्रधानमंत्री की नेपाल यात्रा का समय महत्वपूर्ण है। 
  • इस दिन को तीन कारणों से महत्वपूर्ण माना जाता है, जो भगवान बुद्ध के जन्म, ज्ञान और महापरिनिर्वाण का प्रतीक है। 
  • इसी दिन बुद्ध का जन्म नेपाल के लुम्बिनी में हुआ था, उन्होंने बिहार के बोधगया में ज्ञान प्राप्त किया, सारनाथ में अपना पहला उपदेश दिया और उत्तर प्रदेश के कुशीनगर में निर्वाण प्राप्त किया। 
  • लुंबिनी वह पवित्र स्थान है जहां बौद्ध परंपरा के अनुसार, रानी महामायादेवी ने लगभग 623 ईसा पूर्व में सिद्धार्थ गौतम को जन्म दिया था। भगवान बुद्ध का जन्म लुंबिनी वन में हुआ था।
  • तीर्थयात्रियों में भारतीय सम्राट अशोक शामिल थे, जिन्होंने वहां अपना एक स्मारक स्तंभ बनवाया था। यह स्थल अब एक बौद्ध तीर्थ केंद्र के रूप में विकसित किया जा रहा है, जहां भगवान बुद्ध के जन्म से जुड़े पुरातात्विक अवशेष है।
  • म्यांमार का स्वर्ण मंदिर, तारा फाउंडेशन मंदिर, श्रीलंका मठ, कोरियाई मंदिर (दाए सुंग शाक्य), कंबोडियन मठ और वियतनामी फाट क्वोकटू मंदिर क्षेत्र के कुछ अन्य विहार और मठ हैं।
  • लुंबिनी नेपाल के सबसे पवित्र और सबसे महत्वपूर्ण स्थानों में से एक है जिसके परिणामस्वरूप इसे यूनेस्को द्वारा विश्व विरासत क्षेत्रों की सूची में शामिल किया गया था।
  • इंटरनेशनल बुद्धिस्ट कॉन्फ़ेडरेशन, भारत का मुख्यालय नई दिल्ली में है। 
  • एक अंतरराष्ट्रीय बौद्ध अंब्रेला संस्था के रूप में 2013 में इसका गठन किया गया था। यह दुनिया भर में बौद्धों के लिए एक सामान्य मंच है। 
  • इसे सर्वोच्च बौद्ध धार्मिक पदानुक्रम के संरक्षण में स्थापित होने का सम्मान प्राप्त है। 
  • इसका उद्देश्य साझा बौद्ध मूल्यों और सिद्धांतों को संरक्षित, प्रचारित करने और बढ़ावा देने के लिए दुनिया भर में विभिन्न बौद्ध संगठनों और परंपराओं के लिए एक मंच तैयार करना है। 
  • इसका उद्देश्य वैश्विक समस्याओं का साझा समाधान खोजना भी है।
  • इंटरनेशनल बुद्धिस्ट कॉन्फ़ेडरेशन, नेपाल में बौद्ध संगठनों को एक साथ करने में सक्रिय रूप से शामिल रहा है और कई वरिष्ठ बौद्ध भिक्षुओं के साथ इसके मजबूत संबंध हैं। 
  • प्रधानमंत्री की यात्रा और लुंबिनी मठ परिसर में एक भारतीय केंद्र का निर्माण होने से साझा बौद्ध विरासत और संस्कृति के माध्यम से संबंधों को और मजबूती मिलेगी।

 

2. भारत ने पहली बार थॉमस कप जीता 

सामान्य अध्ययन प्रारंभिक परीक्षा: 1

खेल:

विषय: समसामियकी (खेल)

प्रारंभिक परीक्षा: थॉमस कप (Thomas Cup)।   

प्रसंग: 

  • भारत की पुरुष बैडमिंटन टीम ने फाइनल में 14 बार के चैंपियन इंडोनेशिया को 3-0 से हराकर पहली बार थॉमस कप का खिताब जीतकर भारत का नाम इतिहास में दर्ज करा दिया।  

उद्देश्य:

  • भारत ने इतिहास रचते हुए मौजूदा चैंपियन इंडोनेशिया (Indonesia) को हराकर थॉमस कप का खिताब अपने नाम किया। 
  •  भारत ने पहली बार यह टूर्नामेंट जीता है,जो बैंकॉक में आयोजित हुआ था।  

विवरण:  

  • बैडमिंटन के प्रतिष्ठित टूर्नामेंट थॉमस कप (Thomas Cup) पर भारत ने कब्जा कर लिया है।   
  • भारत को लक्ष्य सेन (Lakshya Sen), सात्विकसाईराज रंकीरेड्डी (Satwiksai Rankireddy), चिराग शेट्टी (Chirag) और किदांबी श्रीकांत (Kidambi Srikanth) ने चैंपियन बनाया है। 
  • खेल मंत्रालय ने थॉमस कप विजेता टीम को 1 करोड़ रुपये देने का एलान किया है।  

पृष्ठ्भूमि:

थॉमस कप (Thomas Cup):

  • भारत ने 73 साल बाद पहली बार यह कप को जीता है। इसे सबसे ज्यादा 14 बार इसे इंडोनेशिया ने जीता है। इंडोनिशया के अलावा थॉमस कप जीतने वाले देशों में चीन ने 10 बार, मलेशिया ने 5 बार, डेनमार्क, जापान एवं भारत 1-1 बार नाम शामिल हैं।
  • गौरतलब हैं कि थॉमस कप में बैडमिंटन वर्ल्ड फेडरेशन (BWF) के सदस्य देश ही भाग लेते हैं।हालाँकि ज्यादातर बार इस खिताब पर एशियाई देशों ने ही कब्ज़ा किया है। 
  • ज्ञातव्य हैं की डेनमार्क ने 2016 के फाइनल में इंडोनेशिया को 3-2 से हराते हुए पहली बार किसी गैर एशियाई देश के रूप में थॉमस कप पर कब्ज़ा किया था। 
  • थॉमस कप (Thomas Cup) एक बैडमिंटन टूर्नामेंट है, जिसमें वर्तमान में केवल 16 टीमें ही भाग लेती हैं। बैडमिंटन खिलाड़ियों के लिए थॉमस कप टूर्नामेंट आयोजित करने का आइडिया सबसे पहले इंग्लिश बैडमिंटन प्लेयर सर जॉर्ज एलन थॉमस (Sir George Alan Thomas) के दिमाग में आया था। 
  • वे भी एक बेहतरीन बैडमिंटन खिलाड़ी थे। जॉर्ज एलन थामस की ख्वाहिश थी कि फुटबॉल वर्ल्ड कप और टेनिस के डेविस कप की तरह ही बैडमिंटन टूर्नामेंट भी होना चाहिए। 
  • इसके बाद पहली बार 1948-49 में थॉमस कप आयोजित किया गया। पहले यह टूर्नामेंट हर 3 साल में होता था, लेकिन 1982 के बाद से इसे 2 साल में आयोजित किया जाता है।

 

3. प्रारंभिक एवं मुख्य परीक्षा की दृष्टि से कुछ महत्वपूर्ण तथ्य:

  1. राजीव कुमार ने भारत के 25वें सीईसी के रूप में कार्यभार ग्रहण किया:
  • राजीव कुमार ने भारत के 25वें मुख्य चुनाव आयुक्त के रूप में पदभार ग्रहण किया हैं।
  • राजीव कुमार 1 सितंबर,2020 से चुनाव आयुक्त के रूप में चुनाव आयोग में कार्यरत हैं।




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