यूपी स्टेटिक जीके: उत्तर प्रदेश का आधुनिक इतिहास

By SATISH KUMAR GUPTA|Updated : November 3rd, 2017

सामान्य जागरूकता प्रतिस्पर्धात्मक परीक्षाओं का हिस्सा है| सामान्य जागरूकता अनुभाग में वर्तमान मामलों और स्थिर जीके शामिल हैं। स्टेटिक जीके की इस श्रृंखला में, हम 'यूपी के आधुनिक इतिहास' पर चर्चा करेंगे।

1857 का स्वत्रंता संग्राम और उत्तर प्रदेश

  • कलकत्ता के निकट स्थित बैरकपुर की 34वीं देशी सैनिक छावनी के मंगल पांडे (उत्तर प्रदेश के बलिया निवासी) ने 29 मार्च, 1857 ई- को खुला विद्रोह कर लेफ्रटीनेट हेनरी बाग पर गोली चला दी_ मंगल पांडे को 8 अप्रैल, 1857 ई- को बैरकपुर में फांसी पर चढ़ा दिया गया।
  • 24 अप्रैल, 1857 ई- को मेरठ की देशी सेना ने नए कारतूसों को छूने से मना कर दिया जिससे क्रुद्ध अंग्रेज अधिकारियों ने 9 मई, 1857 ई- को सैनिको की वर्दी उतरवा ली, परिणामस्वरूप 10 मई, 1857 ई- को पूरी छावनी के सैनिकों ने विद्रोह कर दिया।
  • 1857 ई- के इस विद्रोह से सर्वाधिक प्रभावित क्षेत्र अवध और बुंदेलखण्ड थे।
  • 1857 ई- के इस विद्रोह में शीघ्र ही अलीगढ़, बरेली, लखनऊ, कानपुर, इलाहाबाद आदि को स्वतंत्र कराने के बाद विद्रोही सैनिकों एवं जमींदारों ने वहां अपनी सरकारें स्थापित कर ली थीं।
  • 1857 ई- विद्रोह का विस्तार इटावा, मैनपुरी, एटा, मथुरा, शाहजहांपुर, बदायूं, आजमगढ़, सीतापुर, लखीमपुर खीरी, बाराबंकी, वाराणसी, फैजाबाद, फतेहपुर, हाथरस आदि छोटे-छोटे- नगरों एवं कस्बों तक भी हो गया था।
  • अवध की बेगम हजरत महल ने लखनऊ में विद्रोह का नेतृत्व किया। बेगम ने अपने अल्पवयस्क पुत्र बिरजिस कादिर को अवध का नवाब बना दिया।
  • 21 मार्च, 1858 को कॉलिन कैम्पबेल द्वारा लखनऊ पर पुनः कब्जा कर लिया गया।
  • 1857 ई- के विद्रोह में कानपुर (बिठूर) के प्रशासन पर नाना साहेब का अधिकार था।
  • 1857 ई- के विद्रोह के महान योद्धा तात्या टोपे (मूल नाम- रामचंद्र) ने अपनी ‘गनीमी कावा रणनीति’ (छापामार रणनीति) से अंग्रेजों को भयभीत कर दिया था।
  • 7 अप्रैल, 1859 को तात्या टोपे को गिरफ्रतार करके, उन पर शिवपुरी के सैनिक न्यायालय में मुकदमा चलाकर 18 अप्रैल, 1859 को उन्हें फांसी पर चढ़ा दिया गया था।
  • जून, 1858 में संयुक्त प्रांत (वर्तमान उ-प्र-) में विद्रोह पूरी तरह से समाप्त हो गया।
  • 1 नवंबर, 1858 को इलाहाबाद में लॉर्ड केनिंग ने महारानी विक्टोरिया का घोषणापत्र पढ़कर सुनाया।
  • 1858 ई- में दिल्ली डिवीजन को उत्तर-पश्चिमी प्रदेश से अलग कर दिया गया तथा प्रदेश की राजधानी को आगरा से इलाहाबाद स्थानांतरित कर दिया गया।

उत्तर प्रदेश का आधुनिक काल

  • 1861 में शिव दयाल साहब ने आगरा में राधास्वामी सत्संग की स्थापना की थीद्य
  • स्वामी दयानंद सरस्वती ने 1875 में मुंबई में आर्य समाज की स्थापना की थीद्य
  • भारतेंदु हरिश्चंद्र ने वाराणसी से कवि वचन सुधा (1867) तथा हरिश्चंद्र मैगजीन (1872) का प्रकाशन किया था
  • अलीगढ़ में सर सैयद अहमद खां द्वारा 1875 ई- में स्थापित ‘मोहम्मडन ऐंग्लो ओरिएंटल विद्यालय’ का वर्तमान नाम ‘अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय’ है।
  • सर सैयद अहमद खां ने मुसलमानों की स्थिति सुधारने के लिए ‘अलीगढ़ आंदोलन’ चलाया था।
  • भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के उ-प्र- में सन् 1947 तक कुल 9 अधिवेशन हुए थे।
  • भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के उ-प्र- में सर्वाधिक तीन-तीन बार अधिवेशन इलाहाबाद एवं लखनऊ में हुए। इलाहाबाद (1888 ई-, अध्यक्ष-जार्ज यूल_ 1892 ई-, अध्यक्ष- डब्ल्यू- सी-बनर्जी_ 1910 ई-, अध्यक्ष- सर विलियम वेडरवर्न), लखनऊ (1899 ई-, अध्यक्ष- रमेश चंद्र दत्त_ 1916 ई-, अध्यक्ष- अंबिका चरण मजूमदार_ 1936 ई-, अध्यक्ष- पं- जवाहरलाल नेहरू)।
  • इलाहाबाद एवं लखनऊ के अतिरिक्त तीन अन्य शहरों (उ-प्र- के) में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के अधिवेशन हुए थे- 1905 में बनारस (अध्यक्ष- गोपाल कृष्ण गोखले), 1925 में कानपुर (अध्यक्ष - श्रीमती सरोजिनी नायडू) तथा 1946 में मेरठ (अध्यक्ष- आचार्य जे-बी- कृपलानी) में।
  • 1916 ई- में कांग्रेस और मुस्लिम लीग का अधिवेशन एक साथ लखनऊ में संपन्न हुआ था। इसी सम्मेलन में प्रसिद्ध ‘कांग्रेस - लीग समझौता’ हुआ था। कांग्रेस के इस अधिवेशन की अध्यक्षता अंबिका चरण मजूमदार ने की थी।
  • नवंबर, 1928 में ‘साइमन कमीशन’ का लखनऊ में बहिष्कार किया गया था। इसका नेतृत्व पं- जवाहरलाल नेहरू ने किया था।
  • 1918 में गौरीशंकर मिश्रए इंद्रनारायण द्विवेदी तथा मालवीय ने किसानसभा का गठन किया था
  • सन् 1923 में चितरंजन दास एवं मोतीलाल नेहरू ने इलाहाबाद में स्वराज पार्टी की स्थापना की थी।
  • भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी’ का प्रथम सम्मेलन पेरियार की अध्यक्षता में दिसंबर, 1925 में कानपुर में हुआ था।
  • संयुक्त प्रांत में लखनऊ के समीपवर्ती क्षेत्र में सन् 1920-22 के मध्य किसानों के बीच चले ‘एका आंदोलन’ का नेतृत्व मदारी पासी नामक किसान ने किया था।
  • 8 अगस्त, 1942 को बंबई में हुए अखिल भारतीय कांग्रेस सम्मेलन में ‘भारत छोड़ो’ प्रस्ताव पास हुआ। इसमें गांधीजी ने ‘करो या मरो’ का नारा दिया।
  • भारत छोड़ो आंदोलन के दौरान गांधीजी को पूना के आगा खां महल में तथा जवाहरलाल नेहरू को इलाहबाद की नैनी सेंट्रल जेल में बंदी बनाकर रखा गया था।
  • 16 अगस्त, 1942 से संयुक्त प्रांत के बलिया में ‘भारत छोड़ो आंदोलन’ के पक्ष में प्रबल जन संघर्ष छिड़ गया। परिणामस्वरूप चित्तू पांडेय के नेतृत्व में बलिया में एक ‘राष्ट्रीय सरकार’ का गठन किया गया।

प्रदेश के स्वरुप में परिवर्तन

  • स्वतंत्रा प्राप्ति के बाद 12 जनवरी 1950 को इसका नाम बदलकर उत्तरप्रदेश कर दिया गया
  • 9 नवम्बर 2000 को प्रदेश के 13 पर्वतीय जिलों को अलग करके उत्तराखंड राज्य का गठन किया गयाद्य
  • आजतक कुल 8 प्रधानमंत्री उत्तर प्रदेश ने दिए
  • स्वतंत्रा प्राप्ति के बाद उत्तर प्रदेश की प्रथम राज्यपाल श्रीमती सरोजनी नायडूए प्रथम मुख्यमंत्री गोविन्द बल्लभ पन्त तथा पुरुषोत्तम दास टंडन प्रथम विधानसभा अध्यक्ष बने थे
  • वर्तमान राष्ट्रपति रामकोविंद भी उत्तरप्रदेश से है|

Comments

write a comment

SSC & Railway

CGLSSC GDDFCCILCHSLCPONTPCMTSStenoGroup DDelhi PoliceOthersCoursesMock Test

Follow us for latest updates